इराकी कवि फदील अल-अज्जवी की एक और कविता...
प्रलय के बाद नूह : फदील अल-अज्ज़वी
(अनुवाद : मनोज पटेल)
जब ईश्वर ने प्रलय से बचा लिया नूह को,
उसने अंगूर की बेलें रोपने का हुक्म दिया उसे अपने खेतों में.
तब से पिए जा रही है इंसानियत और कर रही है बदसलूकी
जब तक धरती पट नहीं जाती भ्रष्टाचार और विलासिता से.
प्रिय ईश्वर, अगर फिर से डुबोने की इच्छा हो इस धरती को,
मुझे बनने देना अपना नया नूह.
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नूह : प्रलय के वक़्त नूह ने ईश्वर के आदेश पर बहुत बड़ी कश्ती बनाई और उसमें सृष्टि को बचा लिया. बाद में नूह ने अंगूर का एक बाग़ लगाया और ऎसी मान्यता है कि सबसे पहले नूह ने ही शराब चखी. कहते हैं कि वे ९५० साल ज़िंदा रहे.
"तब से पिए जा रही है...विलासिता से" मिथक का सुंदर इस्तेमाल!
ReplyDeleteनूह ही जल प्रलय वाले मनु हैं . उन्होंने कभी शराब नहीं पी . वह नेक और पाक थे . इस बात को कुरआन बताता है. देखें
ReplyDeleteसूरा शूरा की १३ वीं आयत
जी हाँ, सभी धर्मो में प्रलय, जजमेंट डे और क़यामत की मान्यता है और नूह ही राजा मनु हैं. रही बात नूह के शराब पीने की तो इसका जिक्र कुरआन में नहीं बाइबिल में है. देखें Genesis 9:20-21
Deleteनूह अर्थात मनु हमारे पिता हैं. कुरआन में उनका नाम 45 बार आया है और उनका चरित्र श्रेष्ठ और अनुकरणीय बताया गया है. जब हमारे सामने उनका श्रेष्ठ चरित्र मौजूद है तो फिर हम उनके बारे में किसी अपुष्ट अफवाह पर ध्यान क्यों दें ?
Deleteजबकि बाइबिल का न तो टेक्स्ट सुरक्षित है और न ही उसके अनुवाद में समानता है . यहाँ तक कि उसकी किताबों की संख्या तक में पादरियों की राय एक नहीं है.
अच्छा पिता अपनी संतान के सामने आदर्श प्रस्तुत करता है . यही मनु जी ने भी किया.
यानि नयी सृष्टि मे रोज़े-अव्वल से खुराफात शुरू और वह भी खुदा की सहमति से !........... बहुत जबर्दस्त रचना ! आभार मनोज जी !
ReplyDeleteआज शराब की शुरुआत करने वाले का पता चला.नूह की कश्ती बनवाने वाले इश्वर ने निर्माण में ही विनाश के बीज बो दिए.
ReplyDeleteबहुत सुन्दर.....
ReplyDeleteआपकी रचनाओं का चयन लाजवाब है....अनुवाद तो उत्तम है ही.....
अनु
जिस दिन मनु की संताने पीना बंद कर देंगी उस धरती फिर जल प्रलय में डूब जाएगी :(
ReplyDeleteबढ़िया कविता पढ़वाने के लिए आभार.
बहुत सुन्दर मनोज भाई.
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